Tuesday, August 10, 2010

कमलनाथ की सेवाएं कहां ली जायें इसका फैसला

कमलनाथ की सेवाएं कहां ली जायें इसका फैसला
श्रीमति सोनिया गांधी एवं डॉ.मनमोहन सिंह करेंगें जनमंच नही-हरवंश सिंह
सिवनी। म.प्र.विधानसभा उपाध्यक्ष हरवंश सिंह द्वारा जारी प्रेस विज्ञप्ति में बताया गया कि विभिन्न समाचार पत्रों में आज प्रकाशित समाचार पढा,जिसमें भूतल परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय केन्द्रीय मंत्री कमलनाथ को विभाग से हटाने एवं जयराम रमेश केन्द्रीय मंत्री वन एवं पर्यावरण मंत्रालय को आदेश देने की बात कही गई है। समाचार पढने से ऐसा लगता है कि फोरलेन के लिये बना सर्वदलीय जनमंच जिसे पूर्व में सिवनी जिले की सभी राजनैतिक पार्टियों और जिले की जनता एवं जिले के सभी जनप्रतिनिधियों का सहयोग मिला। इसी का परिणाम था कि 21 अगस्त 2009 को फोरलेन बनाने के नाम पर संपूर्ण जिला बंद रहा। फोरलेन पूर्व प्रस्तावित एवं स्वीकृत सिवनी से होकर ही बने इस मांग के लिये सभी एकमत है और इसके लिये समय-समय पर सभी की तरफ से प्रयास किये गये। मैने भी प्रांरभ से ही भरपूर प्रयास किये है। तथा दो बार कांग्रेस के प्रतिनिधिमंडल के साथ इस मांग को लेकर दिल्ली गया हॅू । संभवत: आज भी कांग्रेस पार्टी का एक प्रतिनिधिमंडल फोरलेन की मांग को लेकर दिल्ली गया है।
जनमंच में अन्य दलों के साथ-साथ कांग्र्रेस पार्टी के भी 3-4 सदस्य है संपूर्ण जनमंच की ओर से जनमंच के प्रवक्ता द्वारा आज जो प्रेस विज्ञप्ति प्रकाशित कराई गई है। वह हास्याप्रद है और फोरलेन निर्माण के आंदोलन और भावनाओं को धक्का देने वाली है। जहां एक कमलनाथ की बात है हम जब भी व्यक्तिगत या सामुहिक रूप से मिले है। उन्होनें सदैव इस फोरलेन के निर्माण कराने की बात कही है और प्रयास किये है। छिंदवाडा,दिल्ली एवं नागपुर में उन्होनें समय-समय पर स्पष्ट जोरदारी से यह बात कही है। कि उनका इरादा सिवनी को नुकसान पहुंचाने का नही है और उक्त फोरलेन सिवनी से ही बनेगी। उन्होनें अनेकों बार कहा है कि जहां तक नरसिंहपुर-छिंदवाडा-नागपुर फोरलेन की बात है वह सिवनी से होकर गुजरने वाले फोरलेन की कास्ट पर नही बनाई जा रही है उसके लिये अलग से धन और बजट की व्यवस्था की है। अभी हाल ही में खवासा से नागपुर तक के टेंडर हुये है और निर्माण कार्य भी शीघ्र प्रांरभ होगा। खवासा-नगझर-लखनादौन-नरसिंहपुर तक 75 प्रतिशत कार्य पूर्ण किया जा चुका है। पेंच पार्क मोहगांव से कुरई एवं छपारा से बंजारी क्रमश 9 एवं 10 किलोमीटर में जो रिजर्व वन क्षेत्र आता हैउसमें से एक की स्वीकृति वन मंत्रालय तथा मोहगांव -रूखड 9 किलोमीटर का प्रकरण माननीय सुप्रीम कोर्ट की उच्चाधिकार समिति के समक्ष विचाराधीन है जिसके लिये सभी तरफ से जो प्रयास होना चाहिए वो हो रहे है।
इसके साथ-साथ सबसे आवश्यक बात यह है कि तत्कालीन जिलाध्यक्ष पी.नरहरि द्वारा मध्यप्रदेश राज्य सरकार के निर्देश पर जो निर्माण कार्य पर रोक लगाइ गई है अगर वह तत्काल हटा ली जाती है तो फोरलेन निर्माण की रूकावटें 90 प्रतिशत खुद व खुद खत्म हो जायेगी। बाकी 9 किलोमीटर पेंच पार्क से लगा रिजर्व वन क्षेत्र का प्रकरण बचेगा वह माननीय सर्वोच्च न्यायालय की उच्चाधिकार समिति के निर्णय तक लंबित रहता है और अगर 9 किलोमीटर सडक वैसी की वैसी रहती है तो विशेष कोई फर्क नही पडेगा।
केन्दीय मंत्रियों के पुतले जलाने उनके खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी करने,विभाग बदलने जैसी बातें करने वाले लोग या मंच न तो सिवनी जिले के हित की बात कर रहे है और न ही फोरलेन निर्माण की । जनमंच में शामिल कांग्रेस के साथियों से भी मेरा आग्रह है कि जिस मंच मे ंफोरलेन निर्माण की बात कम और हमारे नेताओं को अपमानित करने की बात ज्यादा होने लगी है ऐसे मंच में उन्हें रहना चाहिये या नहीं इस पर भी उन्हें अपने विवेक का उपयोग करना चाहिये।

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